दिल्ली के बाद केजरीवाल का पूरा फोकस पंजाब पर, कहा-हमारी सरकार ने छेड़ा महायुद्ध
स पंजाब सबसे बड़ी समस्या नशे के ख़िलाफ अब आम आदमी पार्टी की सरकार ने मुहिम छेड़ दिया है। इसको लेकर अब मुख्यमंत्री ने आदेश पर पूरे राज्य में ड्रग्स कारोबारियों के विरुद्ध ताबड़तोड़ कार्रवाई की जा रही है

दिल्ली की सत्ता हाथ से फिसलने के बाद अब आप संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के पास सिर्फ़ पंजाब ही एक मात्र सहारा है। जिसके भरोसे वो अपनी पार्टी राजनीतिक शासन का लोहा पूरे देश में मनवा सकते है। यही वजह है कि अरविंद केजरीवाल अब पंजाब की मान सरकार को अपना दिशा निर्देश दे रहे है। इस पंजाब सबसे बड़ी समस्या नशे के ख़िलाफ अब आम आदमी पार्टी की सरकार ने मुहिम छेड़ दिया है। इसको लेकर अब मुख्यमंत्री ने आदेश पर पूरे राज्य में ड्रग्स कारोबारियों के विरुद्ध ताबड़तोड़ कार्रवाई की जा रही है। इस पर अब आप संयोजक की प्रतिक्रिया भी सामने आई है।
पंजाब में नशे के ख़िलाफ़ हमारी सरकार ने महायुद्ध छेड़ दिया है। नशे ने हमारे युवाओं और बच्चों को बड़ी संख्या में बर्बाद कर दिया। नशा बेचने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। पंजाब से नशे को हमेशा के लिए खत्म किया जाएगा।
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) March 2, 2025
आम आदमी पार्टी के संयोजक और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने सोशल मीडिया के एक्स पर पोस्ट करते हुए लिखा "पंजाब में नशे के ख़िलाफ़ हमारी सरकार ने महायुद्ध छेड़ दिया है। नशे ने हमारे युवाओं और बच्चों को बड़ी संख्या में बर्बाद कर दिया। नशा बेचने वालों को बख्शा नहीं जाएगा। पंजाब से नशे को हमेशा के लिए खत्म किया जाएगा।"
दरअसल, शुक्रवार को पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने सभी जिलों के DC और SSP के साथ बैठक करते हुए सूबे में नशे के ख़िलाफ़ अभियान चलकर ड्रग्स फ्री स्टेट बनाने की दिशा में काम करने का सख्त निर्देश दिया है। मुख्यमंत्री के आदेश पर पंजाब पुलिस ने प्रदेश भर में एक साथ कार्रवाई की। इस दौरान लगभग 750 जगहों पर छापेमारी की गई। जिसके बाद इस ड्रग्स कारोबारियों के बीच हड़कंप की स्थिति देखने को मिल रही है। इस कारवाई में 1 मार्च को लगभग 12 हज़ार से ज़्यादा अधिकारियों ने 'युद्ध नशे के विरुद्ध' के मुहिम के तहत कारवाई हुई। बता दें कि पंजाब में ड्रग और प्रतिबंधित नशे की सामग्री की सबसे ज़्यादा खपत को लेकर विपक्ष की पार्टियां भी मान सरकार पर सवाल उठा रही थी ऐसे में इस कारवाई के बाद विपक्ष को जवाब देने का मौक़ा मिला।
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